Depression Symptoms: अवसाद पर नियंत्रण के लिए जरूरी हैं प्राणायाम, योग व व्यायाम
Depression Symptoms: पिछले कुछ वर्षों में लोगों में अवसाद अत्यधिक होने लगा है। अवसाद के कई प्रकार होते हैं। 80 प्रतिशत लोगों को मानसिक असंतुलन अवसाद से होता है। अवसाद के दौरान अक्सर देखने में आता है कि व्यक्ति का किसी चीज में मन नहीं लगता, बहुत ज्यादा शारीरिक थकान होती है, किसी बात की समझ नहीं पड़ती, नींद व भूख की परेशानी होना, काम करने की गति धीमी पड़ जाना और आत्मविश्वास की अत्यंत कमी जैसे लक्षण देखने को मिलते हैं।
मनोरोग चिकित्सक डा. उज्जवल सरदेसाई ने बताया कि इस तरह की स्थिति के कारण कई बार मरीज को हर बात में अपनी गलती का अहसास होता है और वह मृत्यु व आत्महत्या के बारे में सोचने लगता है। ये सभी लक्षण अवसाद के प्रामाणिक लक्षण हैं। अक्सर अवसाद के मरीज को समाज द्वारा आलसी, बहुत ज्यादा सोने वाला, रात्रि में जागने वाला, बहुत दुबला या मोटा कहा जाता है। यह सही नहीं है।
कई बार परिवार के लोग किसी सदस्य में इस तरह के लक्षण दिखाई देने को नजरअंदाज कर देते हैं और उसे दोषी समझते हैं, जबकि ऐसे में व्यक्ति को मनोचिकित्सक के पास भेजने की आवश्यकता है। ऐसे व्यक्ति से प्रेमपूर्वक व्यवहार किया जाना चाहिए। इस तरह की स्थिति पर मानसिक रोग चिकित्सक की सलाह से दवाओं का उपयोग किया जाना चाहिए। अवसाद अक्सर आनुवांशिक होता है।
महिलाओं में दोगुना ज्यादा पाया जाता है
यह पुरुषों के मुकाबले महिलाओं में दोगुना पाया जाता है। अवसाद के लक्षण अक्सर तनाव के बाद दिखाई देते हैं। अवसाद इतना असरकारक होता है कि तनाव खत्म होने के बाद भी छह से नौ माह तक इसके लक्षण दिखाई देते हैं। ऐसे में इसका पूर्ण इलाज करना आवश्यक है। अवसाद की बीमारी का यदि पूर्ण उपचार न हो, तो कुछ माह में इसके पुन: होने की आशंका रहती है।
अवसाद व तनाव पर नियंत्रण के लिए नियमित जीवनशैली को अपनाना चाहिए। व्यक्ति को प्रतिदिन सुबह या शाम प्राणायाम, योग या व्यायाम करना चाहिए। इससे अवसाद पर काफी हद तक नियंत्रण होता है।