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Sach Ke Sathi Seniors Campaign: ‘सच के साथी सीनियर्स’ में बोले जयपुर के नागरिक, बिना जांचे फॉरवर्ड नहीं करेंगे संदिग्ध सूचना

HIGHLIGHTS

  1. इस सेमिनार में महिला अधिकारों के लिए काम करने वाली ममता जेटली ने कहा कि भ्रामक सूचनाएं समाज के लिए खतरा होती है।
  2. ऐसे में फैक्ट चेकिंग के टूल्स के बारे में जानने के बाद अब वे किसी भी सूचना को बगैर जांच-परख किए बिना फॉरवर्ड नहीं करेगी।
  3. कार्यक्रम के आखिर में प्रतिभागियों ने इस सेमिनार के लिए जागरण न्यू मीडिया का आभार व्यक्त किया। इस दौरान एडवोकेट ललित शर्मा ने कहा कि डिजिटल दौर में अफवाह तेजी से फैलती है।

डिजिटल डेस्क, जयपुर। जागरण न्यू मीडिया की फैक्ट चेकिंग वेबसाइट विश्वास न्यूज का ‘सच के साथी सीनियर्स’ अभियान के अंतर्गत शुक्रवार को जयपुर में एक सेमिनार का आयोजन हुआ। इस सेमिनार में फैक्ट चेकिंग के कई टिप्स समझने बाद प्रतिभागियों ने कहा कि अब वे किसी भी संदिग्ध सूचना को बगैर जांच किए कभी भी फॉरवर्ड नहीं करेंगे।

इस सेमिनार का आयोजन मीडिया साक्षरता अभियान के तहत लिंक रोड स्थित राजस्थान इंटरनेशनल सेंटर के ऑडिटोरियम मिनी-1 में हुआ था, जिसमें सीनियर एडिटर एवं फैक्ट चेकर उर्वशी कपूर ने प्रतिभागियों को फेक न्यूज और फैक्ट न्यूज के बीच अंतर समझाया। उर्वशी कपूर ने सेमिनार में प्रतिभागियों को कहा कि किसी भी जानकारी को फॉरवर्ड करने से पहले उसका सोर्स जरूर पता करना चाहिए। इससे संबंधित जानकारी का मिलान करें। इस सजगता से भ्रामक या फर्जी पोस्ट को फैलने से रोका जा सकता है।

इस दौरान एसोसिएट एडिटर एवं फैक्ट चेकर आशीष महर्षि ने भी प्रतिभागियों को फैक्ट चेकिंग टूल्स की सहायता से किसी फेक पोस्ट की वास्तविकता पता करने के बारे में विस्तार से बताया। आशीष महर्षि ने कहा कि गूगल रिवर्स इमेज और ओपन सर्च से किसी जानकारी को प्रमाणित किया जा सकता है। इस दौरान उन्होंने कई उदाहरण देकर टूल्स का उपयोग करना भी सिखाया।

ममता जेटली बोलीं, समाज के लिए खतरा है भ्रामक सूचनाएं

इस सेमिनार में महिला अधिकारों के लिए काम करने वाली ममता जेटली ने कहा कि भ्रामक सूचनाएं समाज के लिए खतरा होती है। ऐसे में फैक्ट चेकिंग के टूल्स के बारे में जानने के बाद अब वे किसी भी सूचना को बगैर जांच-परख किए बिना फॉरवर्ड नहीं करेगी। कार्यक्रम के आखिर में प्रतिभागियों ने इस सेमिनार के लिए जागरण न्यू मीडिया का आभार व्यक्त किया। इस दौरान एडवोकेट ललित शर्मा ने कहा कि डिजिटल दौर में अफवाह तेजी से फैलती है और इन्हें रोकने के लिए ऐसी जागरूकता फैलाना बेहद जरूरी है।

गौरतलब है कि ‘सच के साथी सीनियर्स‘ अभियान के अंतर्गत मध्य प्रदेश के 3 शहरों भोपाल, इंदौर और जबलपुर के वरिष्ठ नागरिकों के लिए सेमिनार और वेबिनार का आयोजन हो चुका है। अब ‘सच के साथी सीनियर्स’ अभियान का अगला सेमिनार 19 नवंबर को उदयपुर में सेमिनार का आयोजन होगा। इस कार्यक्रम का अकादमिक भागीदार माइका (मुद्रा इंस्टीट्यूट ऑफ कम्युनिकेशंस, अहमदाबाद) है।

अभियान के बारे में

‘सच के साथी सीनियर्स’ भारत में तेजी से बढ़ रही भ्रामक सूचनाओं के प्रति लोगों को जागरूक करने वाला एक मीडिया साक्षरता अभियान है। इस अभियान का उद्देश्य 15 राज्यों के 50 शहरों में सेमिनार और वेबिनार की श्रृंखला के जरिए स्रोतों का विश्लेषण करने, विश्वसनीय और अविश्वसनीय जानकारी के बीच अंतर करते हुए वरिष्ठ नागरिकों को तार्किक निर्णय लेने में सहायता करना है। कार्यक्रम में ललित शर्मा, पीसी जैन, आईएम अग्रवाल, प्रवीण जाखड़, ममता जेटली, नारायण बारेठ, रमन अग्रवाल, मनीष चौधरी विशेष रूप से मौजूद थे।

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