Vande Bharat Train Indore: इंदौर से मुंबई और सूरत के लिए चलेगी स्लीपर वंदे भारत ट्रेन : रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव
Vande Bharat Train Indore: रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव की रतलाम मंडल की रेल परियोजनाओं की समीक्षा।
HIGHLIGHTS
- इंदौर से जयपुर, मुंबई, सूरत जैसे शहरों के लिए स्लीपर कोच में वंदे भारत ट्रेन चलाई जाएगी।
- इंदौर के दोनों रेलवे स्टेशनों को आने वाले 50 सालों की जरूरत के हिसाब से विकसित किया जा रहा है।
- इंदौर-दाहोद रेल लाइन का काम चल रहा है, जो पूरा होने पर इंदौर से मुंबई से सीधा जुड़ाव हो जाएगा।
Vande Bharat Train Indore: देशभर में सेमी हाईस्पीड वंदे भारत ट्रेन चलाई जा रही है। जल्द ही स्लीपर कोच वंदे भारत भी चलेगी। इसकी डिजाइन पूरी हो चुकी है और निर्माण कार्य शुरू हो गया है। फरवरी-मार्च तक कोच भी आ जाएंगे। अन्य शहरों की तरह इंदौर को भी वंदे भारत ट्रेन की सौगात मिलेगी। इंदौर से जयपुर, मुंबई, सूरत जैसे शहरों के लिए स्लीपर कोच में वंदे भारत ट्रेन चलाई जाएगी।
यह बात रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कही। वे रतलाम मंडल में चल रहे रेलवे प्रोजेक्टों की समीक्षा के लिए शुक्रवार को इंदौर पहुंचे थे। उन्होंने लक्ष्मीबाई नगर रेलवे स्टेशन का दौरान कर डिजाइन और अन्य विस्तार की संभावनाओं को देखा। उन्होंने कहा कि इंदौर प्रदेश का प्रमुख शहर है, इसलिए इंदौर के दोनों रेलवे स्टेशनों को आने वाले 50 सालों की जरूरत के हिसाब से विकसित किया जा रहा है।
भविष्य में इंदौर रेलवे का बड़ा हब बनेगा। इंदौर-दाहोद रेल लाइन का काम चल रहा है, जो पूरा होने पर इंदौर से मुंबई से सीधा जुड़ाव हो जाएगा। इसके अलावा इंदौर-खंडवा गेज परिवर्तन और इंदौर-बुधनी-जबलपुर का काम शुरू हो चुका है। इंदौर-मनमाड़ रेल लाइन में एक सेक्शन का काम चालू हो चुका है, दूसरे की प्लानिंग की जा रही है।
कार्गो टर्मिनल बनाएंगे
मंत्री वैष्णव ने कहा कि इंदौर प्रदेश का सबसे बड़ा इंडस्ट्रीयल और कमर्शियल हब है। व्यापारिक गतिविधियों के लिए इंदौर के आसपास चार बड़े गति शक्ति कार्गो टर्मिनल बनाए जाएंगे। जो इंदौर के औद्योगिक और व्यापारिक विकास में बड़ी भूमिका अदा करेंगे।
ट्रेनों के मेंटेनेंस के लिए बना रहे सेंटर
रेल मंत्री ने कहा कि इंदौर भविष्य का रेलवे हब बनने जा रहा है, इसलिए रेलवे स्टेशनों का विकास और नई रेल लाइन बिछाई जा रही है। ट्रेनों का मूवमेंट बढ़ने पर इनके मेंटनेंस के लिए सेंटर बनाए जा रहे हैं, ताकि ट्रेनों और रेल इंजनों का मेंटनेंस इंदौर में किया जा सके।