Prajwal Revanna Case: भारत लौटो और कानून का सामना करो, पूर्व पीएम एचडी देवेगौड़ा की अपने पोते को चेतावनी
Prajwal Revanna Case: प्रज्वल अपने घर में काम करने वाली महिला की शिकायत के बाद यौन उत्पीड़न और आपराधिक धमकी के आरोपों पर कर्नाटक सरकार द्वारा गठित एसआईटी की जांच का सामना कर रहे हैं।
एएनआई, बेंगलुरु। Prajwal Revanna Case: पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवेगौड़ा ने अपने पोते और सांसद प्रज्वल रेवन्ना को विदेश से भारत लौटने और अश्लील वीडियो मामले में कानून का सामना करने को कहा है। प्रज्वल अपने घर में काम करने वाली महिला की शिकायत के बाद यौन उत्पीड़न और आपराधिक धमकी के आरोपों पर कर्नाटक सरकार द्वारा गठित एसआईटी की जांच का सामना कर रहे हैं।
एचडी देवेगौड़ा ने एक्स पर लिखा पोस्ट
पूर्व पीएम एचडी देवेगौड़ा ने एक्स पोस्ट पर लिखा, ‘उन्हें नहीं पता कि उनका पोता कहां है, लेकिन उन्होंने उसे घर लौटने और कानून का सामना करने की चेतावनी दी है।’ देवेगौड़ा ने लिखा कि मैं लोगों को यह नहीं समझा सकता कि मैं प्रज्वल की गतिविधियों से अनजान था। मैं उन्हें यह नहीं समझा सकता कि मैं उसे बचाने की कोई इच्छा नहीं रखता।
देवेगौड़ा ने पोते को दी चेतावनी
पूर्व पीएम ने कहा कि मैं भगवान में विश्वास करता हूं और जानता हूं कि सर्वशक्तिमान सत्य को जानता है। देवेगौड़ा ने अपने पोते प्रज्वल से अपील की कि यदि उसके मन में जरा भी सम्मान बचा है, तो वह वापस आ जाए। एचडी देवेगौड़ा ने कहा, ‘इस समय मैं सिर्फ एक ही काम कर सकता हूं। मैं अपने पोते को कड़ी चेतावनी दे सकता हूं। उसे कानूनी प्रक्रिया के लिए खुद को सरेंडर करना चाहिए।’
पासपोर्ट रद्द करने की मांग
पूर्व प्रधानमंत्री ने कहा कि मैं यह सुनिश्चित करूंगा कि मेरे या मेरे परिवार के सदस्यों की ओर से उनके खिलाफ जांच में कोई हस्तक्षेप न हो। इससे पहले कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लेटर लिखकर अनुरोध किया था कि वे प्रज्वल रेवन्ना का पासपोर्ट रद्द कर दें। साथ ही उनकी भारत वापसी सुनिश्चित करने के लिए त्वरित और ठोस कार्रवाई करें। पीएम मोदी को लिखे पत्र में सिद्धारमैया ने कहा कि यह शर्मनाक है कि प्रज्वल रेवन्ना अपने जघन्य कृत्यों की खबर सामने आने और एफआईआर दर्ज होने से कुछ घंटे पहले अपने राजनयिक पासपोर्ट का उपयोग करते 27 अप्रैल को देश छोड़कर जर्मनी भाग गया। उन्होंने कहा, इन घटनाओं ने न सिर्फ कर्नाटक के लोगों की अंतरात्मा को झकझोर दिया, बल्कि देशव्यापी चिंता पैदा कर दी है।