World Kidney Day 2024: किडनी को हेल्दी रखना है तो बीपी शुगर कंट्रोल में रखें, साल में एक बार जरूरी कराएं किडनी टेस्ट
HIGHLIGHTS
- किडनी खराब होने के पीछे दो मुख्य कारण हैं डायबिटीज और ब्लड प्रेशर।
- कुछ लोगों में किडनी से जुड़ी जन्मजात समस्या हो सकती है, जिसे पॉलिसिस्टिक किडनी डिजीज।
- किडनी को सेहतमंद रखने के लिए ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करना बेहद जरूरी है।
लाइफस्टाइल डेस्क, इंदौर। अनियमित दिनचर्या और खानपान में लापरवाही के कारण अधिकांश लोग आजकल कई गंभीर बीमारियों से जूझ रहे हैं। इन गंभीर बीमारियों में किडनी से जुड़ी शिकायतें भी काफी ज्यादा बढ़ रही है। किडनी हमारे शरीर का बेहद जरूरी अंग है, जो शरीर से टॉक्सिन निकालने में मदद करती है। इस साल विश्व किडनी दिवस 14 मार्च 2024 को है। किडनी की सेहत के प्रति किस तरह से सतर्कता बरतनी चाहिए और किन लक्षणों को बिल्कुल भी अनदेखा नहीं करना चाहिए। इस बारे में विस्तार से जानकारी दे रहे हैं GI सर्जरी और ट्रांसप्लांटेशन कंसल्टेंट डॉ. संदीप गुलेरिया।
डॉ. संदीप गुलेरिया के मुताबिक, किडनी खराब होने के पीछे दो मुख्य कारण हैं डायबिटीज और ब्लड प्रेशर। इसके अलावा कुछ लोगों में किडनी से जुड़ी जन्मजात समस्या हो सकती है, जिसे पॉलिसिस्टिक किडनी डिजीज। किडनी को सेहतमंद रखने के लिए ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करना बेहद जरूरी है। ऐसा करके आप किडनी फेल होने के खतरे को टाल सकते हैं।
ऐसी दवाओं का सेवन करने से बचें
कई बार मामूली तकलीफ होने पर भी लोग दर्द निवारक गोलियों का सेवन कर लेते हैं। ये दवाएं किडनी पर काफी बुरा असर डालती है। पेन किलर दवाओं जैसे ब्रूफेन आदि में एस्टेरॉयड काफी ज्यादा होते हैं, जिसका किडनी पर बुरा असर होता है। नान स्टेरायडल एंड एंटी इंफ्लेमेटरी ड्रग्स (NSAID) दवाओं से गुर्दे को बहुत नुकसान होता है, इसलिए इसका सेवन चिकित्सक की निगरानी में ही होना चाहिए।
इन बातों का रखें ध्यान
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- रात में बार-बार पेशाब के लिए उठना पड़ रहा है, तो इसे नजरअंदाज नहीं करना चाहिए।
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- साल में एक बार किडनी फंक्शन टेस्ट (KFT) जरूर कराना चाहिए।
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- बहुत ही कम मामलों में किडनी फेल होने की समस्या आती है।
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- किडनी में समस्या आ रही है, तो भूख कम लगने लगती है।
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- उल्टियां होने लगती है और शरीर में खून कम होने लगता है।
- शरीर में विषाक्तता बढ़ने से अन्य तरह की दिक्कतें भी आने की आशंका रहती है।