ग्वालियर में 12 सितंबर को स्कूलों की छुट्टी… तिघरा बांध के 6 गेट और छतरपुर में बानसुजारा बांध के 8 गेट खोले गए
मध्य प्रदेश के ग्वालियर और छतरपुर में बारिश के बाद बांध लबालब हो गए हैं। पानी से ओवरफ्लो हुए बांधों के गेट खोले जा रहे हैं। छतरपुर में बारिश के बाद धसान नदी का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। छतरपुर और टीकमगढ़ के बीच सड़क संपर्क टूट गया है।
HIGHLIGHTS
- इससे पहले 7 अक्टूबर 2022 को तिघरा बांध के गेट खोले गए थे।
- ग्वालियर और आस-पास के इलाके में बारिश से बांध लबालब हुए।
- छतरपुर में अभी धसान नदी में 8 से 10 फीट जल स्तर बढ़ गया है।
ग्वालियर। बंगाल की खाड़ी में बने कम दबाव के क्षेत्र के प्रभाव से ग्वालियर में मंगलवार की दोपहर से शुरू हुआ बौछारों का दौर बुधवार को भी जारी रहा है। ग्वालियर जिले में तेज बारिश को ध्यान में रखते हुए कलेक्टर रुचिका चौहान ने गुरुवार 12 सितंबर को आंगनबाड़ियों एवं नर्सरी से लेकर आठवीं कक्षा तक के बच्चों के लिए स्कूलो में छुट्टी घोषित कर दी है।
जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला बाल विकास और जिला शिक्षा अधिकारी द्वारा जारी अलग-अलग आदेशों में स्पष्ट किया गया है कि यह छुट्टी केवल बच्चों के लिए होगी। आंगनवाड़ी कार्यकर्ता, सहायिका, प्राचार्य, प्रधानाध्यापक, और सभी शिक्षक अपने कर्तव्यों पर उपस्थित रहेंगे।
मानसून फिर मेहरबान होने से घाटीगांव स्थित कैचमेंट एरिया में जबरदस्त बारिश होने के कारण बुधवार को तिघरा बांध का जल स्तर 739 फीट पर पहुंच गया। ओवरफ्लो होने के कारण दोपहर में बांध के छह गेट खोलकर अतिरिक्त पानी को निकाला गया। इससे पहले सात अक्टूबर 2022 को तिघरा बांध के गेट खोले गए थे।
छतरपुर में बानसुजारा बांध के आठ गेट खोले गए, धसान नदी में बढ़ रहा पानी
छतरपुर में बानसुजारा बांध के सभी 12 गेट खोले गए हैं। धसान नदी में 8 से 10 फीट जल स्तर बढ़ गया है। प्रशासन ने अपील की है कि आमजन नदी के किनारे और आसपास बिल्कुल भी नहीं जाएं।
दशा नदी में जलस्तर बढ़ने से छतरपुर और टीकमगढ़ का रास्ता फिलहाल बंद हो गया है। मौके पर प्रशासन की टीम मौजूद है। दोनों तरफ बैरिकेड्स लगा दिए गए हैं, क्योंकि नदी में लगातार पानी बढ़ रहा है। अगर बारिश की बात करें, तो छतरपुर जिले में पिछले दो दिन से लगातार बारिश जारी है। इस कारण नदी के कैचमेंट एरिया में भी पानी बढ़ रहा है।
इलाके में हो रही तेज बारिश से कुछ गांवों में पानी भर गया है। धसान नदी के आसपास बसे गांवों के लोगों पर सबसे ज्यादा खतरा मंडरा रहा है। जिले में प्रशासन की टीम भी अलर्ट पर है। लोगों को नदी से दूर रहने को कहा जा रहा है।