4 अगस्त को है हरियाली अमावस्या, पितरों के तर्पण और पौधे रोपने के लिए ये समय रहेगा उत्तम
इस बार हरियाली अमावस्या का पर्व सर्वार्थ और अमृत सिद्धि योग के विशेष संयोग में मनेगा। अमावस्या पर पितरों के निमित्त तर्पण और दान-पुण्य से परिवार में सुख-समृद्ध आती है। इस दिन श्रीवत्स योग, रवि पुष्य योग, सर्वार्थ सिद्धि योग, सिद्धि योग और पुष्प नक्षत्र का शुभ संयोग बन रहा है, इसलिए यह विशेष फलदायी रहेगी।
HIGHLIGHTS
- श्रीवत्स योग, रवि पुष्य योग व पुष्प नक्षत्र मनेगी हरियाली अमावस्या
- पितृ दोष शांति के लिए पीपल के पेड़ के पास दीया प्रज्जवलित करें।
- इस दिन पौधे लगाने व भोलेनाथ की पूजा अर्चना का विशेष महत्व है।
भोपाल। शहर में चार अगस्त रविवार को हरियाली अमावस्या मनाई जाएगी। इस दिन पितरों के निमित्त तर्पण के अलावा शहर में कई धार्मिक और सामाजिक संगठन विभिन्न स्थानों पर पौधे रोपेंगे। मां चामुंडा दरबार के पुजारी पंडित रामजीवन दुबे ने बताया कि सावन महीने की अमावस्या चार अगस्त को विशेष योगों में मनाई जाएगी। इस दिन श्रीवत्स योग, रवि पुष्य योग, सर्वार्थ सिद्धि योग, सिद्धि योग और पुष्प नक्षत्र का शुभ संयोग बन रहा है, इसलिए यह विशेष फलदायी रहेगी।
इस दिन के अधिपति विष्णु भगवान हैं, इसलिए इस दिन पीपल और बरगद का पौधा अवश्य रोपें। पितृ दोष की शांति के लिए शाम को पीपल के पेड़ के पास दीप प्रज्जवलित करें। हरियाली अमावस्या के दिन पौधे लगाने और भगवान भोलेनाथ की पूजा अर्चना का विशेष महत्व है।
श्री बड़वाले महादेव मंदिर सोमवारा और छोला विश्रामघाट स्थित मुक्तेश्वर महादेव मंदिर में शिव राजा के रूप में विराजेंगे। ईश्वर नगर स्थित चौबदारपुरा स्थित बांके बिहारी मार्कण्डेय मंदिर में भी बेल पत्र, धतूरा और हरी पत्तियों से उनका हरित श्रृंगार किया जाएगा। धार्मिक और सामाजिक संस्थाएं पौधे लगाएंगी।
योग कब से कब तक
- पंडित राजीव चतुर्वेदी ने बताया कि हरियाली अमावस्या पर श्रीवत्स योग सुबह 5: 56 बजे से दोपहर 1: 25 बजे तक रहेगा।
- रवि पुष्य योग शनिवार को 11:59 बजे से शुरू होकर रविवार को दोपहर 1:25 बजे तक है।
- सर्वार्थ सिद्धि योग सुबह 5:56 बजे से दोपहर 1: 25 बजे तक है।
- सिद्धि योग शनिवार को 11 बजे सुबह से रविवार को सुबह 11:41 बजे तक रहेगा।
- पुष्य नक्षत्र तड़के 5:56 बजे से दोपहर 1: 26 बजे तक है।