छत्तीसगढ़ सरकार ने बढ़ाया काम का दबाव, तो पटवारी संघ ने मांग के नाम पर 8 जुलाई से हड़ताल पर जाने की दी चेतावनी
राजस्व पटवारी संघ ने राजस्व मंत्री टंकराम वर्मा को ज्ञापन सौंप दिया गया है और सभी जिलाध्यक्षों को इस संदर्भ में सूचित कर दिया गया है। ऐसे में पटवारियों की हड़ताल की वजह से शिविर स्थल पर ही लोगों की समस्याओं का निराकरण करने की सरकार की मंशा विफल हो जाएगी।
HIGHLIGHTS
- पटवारी संघ ने आठ जुलाई से अनिश्चित कालीन हड़ताल की दी चेतावनी
- 32 सूत्री मांगों को लेकर पटवारी संघ की हड़ताल, मंत्री को सौंपा ज्ञापन
- दो दिनों के राजस्व शिविर के बाद फिर से आम लोगों के काम अटकना तय
रायपुर। छत्तीसगढ़ के लंबित राजस्व प्रकरणों के निराकरण करने की सरकार की मंशा पर एक और रोड़ा आ गया है। एक तरफ जहां शनिवार से ग्राम पंचायत स्तर पर राजस्व शिविर लगाए जाएंगे, वहीं दूसरी ओर राजस्व मामलों की रीढ़ माने जाने वाले पटवारियों ने हड़ताल की चेतावनी दे दी है। राजस्व पटवारी संघ अपनी 32 सूत्री मांगों को लेकर सोमवार से हड़ताल पर जा रहा है। यानी कि दो दिनों के राजस्व शिविर के बाद फिर से आम लोगों के काम अटकना तय माना जा रहा है।
एक धड़ा हड़ताल पर, दूसरा मैदान में
राजस्व पटवारी संघ जो कि हड़ताल में जा रहा है, उसमें लगभग 4,500 पटवारी हैं। जबकि दूसरी ओर छत्तीसगढ़ पटवारी संघ में लगभग 700 पटवारी हैं। छत्तीसगढ़ पटवारी संघ के प्रांताध्यक्ष जागेश्वर चंद्राकर ने बताया कि इस संदर्भ में अब तक कार्यकारिणी से चर्चा नहीं हुई है। दूसरे संघ की ओर से भी कोई प्रस्ताव नहीं आया है। हड़ताल कोई अंतिम विकल्प नहीं है।
शिविर में होने हैं इस तरह के कार्य
– बी-1, खसरा व किसान किताब के प्राप्त आवेदनों का निराकरण किया जाएगा।
– आय, जाति, निवास प्रमाण-पत्र संबंधी समस्त आवेदनों का शिविर में ही लोक सेवा केंद्र के माध्यम से आनलाइन प्रविष्टि एवं समयसीमा में शत-प्रतिशत निराकरण के निर्देश।
– शिविर में प्राप्त होने वाले आवेदनों एवं उन पर की गई कार्रवाई की जानकारी प्रत्येक दिन निर्धारित प्रपत्र में कार्यालय को उपलब्ध कराया जाएगा।
– प्रदेश के सभी राजस्व न्यायालय में दर्ज ऐसे प्रकरण जिनकी सुनवाई तिथि अद्यतन नहीं है, उनका शत-प्रतिशत सुनवाई तिथि सुनिश्चित किया जाए।
– जनहानि-पशुहानि, फसल क्षति से संबंधी आरबीसी 6-4 के तहत प्राप्त आवेदनों का त्वरित निराकरण होना चाहिए।
– राजस्व पखवाड़ा में भू-अर्जन संबंधी प्रकरणों का समयसीमा में निराकरण तथा भू-अर्जन के प्रकरणों में लियए गए सेवा शुल्क की जानकारी भी दी जानी है।
– भूमिस्वामी के खातों में आधार, मोबाइल नंबर, किसान किताब और जेंडर की प्रविष्टि 31 जुलाई तक शत-प्रतिशत करना सुनिश्चित होना चाहिए।
जानिए, पटवारी संघ की कुछ प्रमुख मांगें
– आनलाइन कार्यों के लिए कंप्यूटर, स्कैनर सहित अन्य सामग्रियां
– आनलाइन नक्शा, बटांकन में आ रही समस्या का निराकरण
– जिला स्तर पर सहायक प्रोग्रामरों की पदस्थापना
– बंधक खसरों के विलाेपन की व्यवस्था
– दूसरे राज्य के लोगों की जाति के संदर्भ में संशोधन
– पटवारियों के खिलाफ की जा रही कार्रवाई पर रोक
– डिजिटल सिग्नेचर के लिए हाेने वाले व्यय का भत्ता
– खाताधारकों के आधार नंबर की एंट्री में आ रही दिक्कतें दूर करने
– रजिस्ट्री के बाद नाम की भाषा में सुधार करने बावत
– नक्शा बटांकन में आ रही दिक्कतों के संदर्भ में