रायपुर में बनेगा ग्रीन कॉरिडोर:एंबुलेंस ट्रैफिक में नहीं फंसेगी, ऑटो मोड में काम करने वाला यह सिस्टम मई तक शुरू होगा
रायपुर. राजधानी रायपुर में अब अस्पताल तक पहुंचने में किसी एंबुलेंस को ट्रैफिक की वजह से कोई बाधा नहीं झेलनी पड़ेगी। दरअसल, रायपुर स्मार्ट सिटी और ट्रैफिक पुलिस रायपुर में ग्रीन कॉरिडोर सिस्टम लागू करने की तैयारी में है और इसे इसी साल मई तक शुरू करने की संभावना है। रायपुर में ग्रीन कॉरिडोर एआई (आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस) तकनीक के जरिए ऑटो मोड पर काम करेगा। दरअसल, पहले किसी एंबुलेंस को इमरजेंसी में अस्पताल या एयरपोर्ट तक पहुंचाने के लिए ग्रीन कॉरिडोर प्रशासन के आदेश के बाद ही ट्रैफिक पुलिस बना पाती थी।
नए सिस्टम एंबुलेंस के जीपीएस सिस्टम इंटिग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम (आईटीएमएस) के कमांड सेंटर से जुड़े रहेंगे। यानी किसी भी रूट पर जब एंबुलेंस आएगी तो उस पूरे रूट के सिग्नल ग्रीन कर दिए जाएंगे। इससे शहर की किसी भी सड़क पर कोई एंबुलेंसट्रैफिक में नहीं फंसेगी। राजधानी के सरकारी और प्राइवेट अस्पातालों में छोटी बड़ी मिलाकर हर दिन करीब 300 से 400 से ज्यादा एंबुलेंस की आवाजाही होती है। अन्य जिलों से भी एंबुलेंस मरीजों को लेकर रायपुर आती है।
आउटर और शहर के भीतर ट्रैफिक से गुजरते हुए एंबुलेंस अक्सर ट्रैफिक में फंस जाती है। ज्यादातर एंबुलेंस ट्रैफिक का रेड सिग्नल को जंप करके ही अस्पताल तक जाती है। कई बार एंबुलेंस की आवाजाही के कारण आम लोगों को भी परेशानी का सामना करना पड़ता है। आईटीएमएस से सभी एंबुलेंस का जीपीएस सिस्टम जुड़ने के बाद इस तरह की समस्या आगे नहीं आएगी।