West Nile Virus: केरल में अब वेस्ट नाइल वायरस का खतरा, तीन जिलों में अलर्ट, डेंगू से मिलते हैं लक्षण, बरतें ये सावधानी
HIGHLIGHTS
- वेस्ट नाइल वायरस मच्छर के काटने से मनुष्यों में फैलता है।
- केरल में सामने आए पांच मामले, चार मरीज ठीक हुए।
- अधिकारी बोले- हालात काबू में, घबराने की जरूरत नहीं।
एजेंसी, कोझिकोड (West Nile Fever)। केरल में वेस्ट नाइल वायरस के मरीज सामने आने के बाद तीन जिलों में अलर्ट घोषित किया गया है। केरल के स्वास्थ्य विभाग ने हाल ही में तीन जिलों (कोझिकोड, मलप्पुरम और त्रिशूर) में वेस्ट नाइल वायरस के मामले सामने आने के बाद सभी जिलों को मानसून पूर्व सफाई अभियान और निगरानी गतिविधियों को तेज करने का निर्देश दिया।
क्या है वेस्ट नाइल फीवर (What Is West Nile Fever)
वेस्ट नाइल फीवर या वेस्ट नाइल वायरस के कोई स्पष्ट लक्षण नहीं हैं, लेकिन स्वास्थ्य अधिकारियों का कहना है कि इसके लक्षण डेंगू से मिलते जुलते हैं।
- लोगों को सलाह दी गई है कि वे अपने घर में और आसपास साफ-सफाई रखें और मच्छर न पनपने दें।
- यह एक वेक्टर जनित बीमारी है, इसलिए रुके हुए जल स्रोतों को साफ करना और मच्छरों के प्रजनन को रोकना अहम है। 80% मामलों में आमतौर पर कोई लक्षण नहीं होते हैं।
- वेस्ट नाइल वायरस मच्छर के काटने से मनुष्यों में फैलता है। मच्छरों में यह वायरस पक्षियों से आता है। मानव से मानव में संचरण दुर्लभ है।
केरल के हालात का ताजा अपडेट
कोझिकोड के जिला कलेक्टर स्नेहिल कुमार सिंह के अनुसार, ‘जिले में अब तक सामने आए पांच मामलों में से चार मरीज ठीक हो गए हैं और एक का वर्तमान में सरकारी मेडिकल कॉलेज अस्पताल में इलाज चल रहा है।’
जिले में पहले भी वेस्ट नाइल फीवर के मामले सामने आए हैं। यह डेंगू के समान है। अभी चिंता या घबराहट का कोई कारण नहीं है। कोई हॉट स्पॉट नहीं हैं।