मां लक्ष्मी की कृपा और दरिद्रता से मुक्ति पाने के लिए रोजाना घर की इस दिशा में जलाएं दीपक
नई दिल्ली. हिंदू धर्म ग्रंथों में दीपक या दीया जलाने को बहुत शुभ माना गया है। वेदों में मान्यता है कि दीपक में देवताओं का तेज बसता है। इसी कारण से पूजा-पाठ, किसी मांगलिक उत्सव या फिर तीज-त्योहार आदि सभी का शुभारंभ दीप प्रज्वलित करके ही किया जाता है। दीपक के रोशनी को ज्ञान का प्रतीक भी माना जाता है जो हमें अज्ञानता के अंधकार से उजाले की ओर ले जाती है।
वहीं हमारे घरों में भी सुबह-शाम पूजा के दौरान भगवान के समक्ष और तुलसी के पास दीपक जलाया जाता है। माना जाता है कि आपके आसपास सकारात्मक ऊर्जा आती है और मन भी शांत होता है। लेकिन दीपक की महत्वता उसे जलाने के नियमों में भी छुपी है। वास्तु शास्त्र के अनुसार घर की इस दिशा में दीपक जलाने से दरिद्रता दूर होने के साथ ही मां लक्ष्मी का वास होता है…
किस दिशा में दीपक जलाने से आती है संपन्नता
हमारे शास्त्रों में दक्षिण दिशा का एक अलग महत्व बताया गया है। शास्त्रों के अनुसार भगवान श्रीकृष्ण और माता लक्ष्मी का निवास भी दक्षिण दिशा को माना गया है। वास्तु शास्त्र में उत्तर दिशा को ज्ञान की दिशा और दक्षिण दिशा को धन, पुरुषार्थ और कुशलता की दिशा माना गया है।
ऐसे में वास्तु शास्त्र के अनुसार घर की दक्षिण दिशा में नियमित रूप से दीपक जलाना बहुत शुभ माना जाता है। आप दीपक में तिल के तेल का इस्तेमाल करते हैं तो बेहतर परिणाम प्राप्त होते हैं। इससे घर की दरिद्रता दूर होने के साथ ही घर में मां लक्ष्मी का वास सदा बना रहता है। घर की दक्षिण दिशा में रोजाना दीपक प्रज्वलित करने से आर्थिक तंगी दूर होकर घर में सुख-समृद्धि बनी रहती है।