पान खाने और बोलने के स्टाइल से फेमस थे ‘मदर इंडिया’ के ‘सुखीलाला’, फिल्मों में नेगेटिव रोल करने से परेशान हो गए थे
कन्हैयालाल अपने सुखीलाला के किरदार से हर जगह छा गए थे। उन्होंने अपने करियर की शुरुआत में छोटे से छोटा रोल भी किया। फिल्म 'औरत' में वे सूद खोर लाला बने थे और उसी फिल्म के रीमेक 'मदर इंडिया' में वे सुखीलाला बने थे। इन दोनों किरदारों को दर्शकों ने खूब पसंद किया था।
HIGHLIGHTS
- ‘मदर इंडिया’ फिल्म में सुखीलाला एक दमदार कैरेक्टर था।
- एक्टर कन्हैयालाल ने इस किरदार को बखूबी निभाया था।
- ‘मदर इंडिया’ फिल्म ‘औरत’ फिल्म की रीमेक बनाई गई थी।
एंटरटेनमेंट डेस्क, इंदौर। Mother India Film’s Sukhilala: हर फिल्म में एक ना एक किरदार ऐसा होता है, जो सदियों तक याद रह जाता है। आज भी कुछ पुरानी फिल्में ऐसी हैं, जो पसंद की जाती हैं। पुरानी जनरेशन के साथ-साथ नई जनरेशन को भी इन फिल्मों में दिलचस्पी आती है और उनके किरदारों को पसंद करते हैं।
‘मदर इंडिया’ मोस्ट पॉपुलर फिल्मों में से एक है। इस फिल्म के सभी रोल को जमकर सराहना मिली थी। उस समय भी यह फिल्म सुपरहिट साबित हुई थी और आज भी फिल्म के गाने कहीं ना कहीं रील्स में हमें दिख ही जाते हैं।
ज्यादातर ऑफर होते थे नेगेटिव रोल
‘मदर इंडिया’ फिल्म में सुखीलाला एक दमदार कैरेक्टर था। एक्टर कन्हैया लाल ने इस किरदार को बखूबी निभाया था। उन्हें अधिकतर रोल विलेन के मिलते थे और उन्हें यह रोल करना बिल्कुल भी पसंद नहीं था। आज हम आपको उनके फिल्मी करियर से जुड़े कुछ किस्से बताने जा रहे हैं, जिन्हें बॉलीवुड एक्ट्रेस तबस्सुम ने अपने यूट्यूब चैनल पर शेयर किया था।
कन्हैयालाल का जन्म 1910 में वाराणसी में एक हिंदू ब्राह्मण परिवार में हुआ था। एक्टिंग का शौक होने के कारण उन्होंने ज्यादा पढ़ाई-लिखाई नहीं की। पिता के निधन के बाद जब घर की आर्थिक स्थिति खराब होने लगी, तो कन्हैयालाल और उनके भाई ने आटे की चक्की में काम किया।
पान खाने के स्टाइल से हो गए थे फेमस
- इतना ही नहीं, उन्होंने पंसारी और किराना की भी दुकान खोली। जब कोई भी तरीका काम नहीं आया, तो वे अपने भाई के साथ मुंबई आ गए और फिल्मों में अपनी किस्मत आजमाई।
- उन्होंने छोटे-मोटे हर काम किए। वे पहले फिल्मों में जूनियर आर्टिस्ट थे। वे अपने पाने खाने और बोलने के स्टाइल के कारण काफी जल्दी फेमस हो गए थे।
- उन्हें तरह-तरह के रोल मिलने लगे थे। वे एक अच्छे एक्टर होने के साथ-साथ अच्छे राइटर भी थे। उन्होंने कई फिल्मों में गाने भी लिखे थे।
- 1940 में आई फिल्म औरत कन्हैयालाल के एक सीन की वजह से सुपरहिट हुई थी। इस फिल्म के 17 साल बाद फिर से इसका रीमेक बनाया गया, जिसका नाम मदर इंडिया रखा गया।
नेगेटिव रोल प्ले करने का अफसोस
‘मदर इंडिया’ फिल्म के डायरेक्टर महबूब खान ने ‘औरत’ फिल्म की पूरी कास्ट को बदल दिया था। लेकिन सिर्फ कन्हैयालाल का रोल वही रखा। कन्हैयालाल ने जो रोल औरत फिल्म में प्ले किया था, वही मदर इंडिया फिल्म में प्ले किया। इस फिल्म से सुखीलाला बनकर वे खूब फेमस हुए।
कन्हैयालाल का कहना था कि उन्होंने ज्यादातर फिल्मों में नेगेटिव रोल प्ले किए थे, जो कि वे बिल्कुल नहीं चाहते थे। सिर्फ कुछ ही फिल्में ऐसी थीं, जिसमें वे पॉजिटिव रोल में दिखाई दिए। उन्होंने अपने करियर में लगभग 150 फिल्मों में काम किया।