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हैलो! मैं पुलिस स्‍टेशन से बोल रहा हूं, आरोपित को पकड़ने के लिए देने होंगे रुपये, अगर आपके पास आए ऐसे काल तो रहे अलर्ट

HIGHLIGHTS

  1. एफआइआर के नाम पर धोखा प्रदेश में बढ़ रहे केस, कांकेर, कोरिया और रायपुर में शिकायतें,
  2. पुलिस ने कहा-किसी का फोन आए तो न दें पैसा, थाने में करें संपर्क
  3. पुलिस की पारदर्शिता ने खोली ठगी की राह, अब एफआइआर के नाम पर धोखा

दीपक शुक्ला/रायपुर। Raipur Crime News: शातिर साइबर ठग धोखाधड़ी के लिए नए-नए हथकंडे अपनाते रहते हैं। अब पुलिस की पारदर्शिता के लिए बनाई गई वेबसाइट और उस पर अपलोड एफआइआर ने ठगी का नया रास्ता खोल दिया है। पोर्टल पर मौजूद एफआइआर से पीड़ितों के मोबाइल नंबर चुराकर अपराधी ठगी का शिकार बना रहे हैं। कांकेर में मप्र के चार आरोपित पकड़े गए थे। वहीं, रायपुर में एक महिला से गोलबाजार थाने से होना बताकर ठगी करने का प्रयास किया गया। रायपुर पुलिस ने सभी को अलर्ट किया है। अगर थाने से केस में आरोपित को पकड़ने के नाम पर कोई फोन करने के लिए पैसे की मांग करता है तो तत्काल थाने में फोन करें।

आरोपित को पकड़ने मांगे 20 हजार

राजधानी के गोलबाजार थाना क्षेत्र में कुछ दिन पहले महिला ने चोरी की रिपोर्ट दर्ज करवाई। दो दिन बाद महिला के पास अज्ञात नंबर से फोन आया और उसने खुद को गोलबाजार थाने का स्टाफ बताया। फोन करने वाले ने महिला से कहा कि आरोपित की लोकेशन मिल गई है। वह दूसरे राज्य में है, उसको पकड़ने जाने के लिए 20 हजार रुपये लगेंगे। महिला ने कहा, उसके पास 20 हजार नहीं है। इसके बाद उसके द्वारा बार्गेनिंग शुरू की गई और अंत में एक हजार मांगे गए। महिला को शक हुआ तो थाना प्रभारी को फोन कर इसकी जानकारी दी। पुलिस ने लोकेशन निकलवाई तो वह नंबर उप्र का निकला।

वारंट जारी करने के लिए मांगा गया पैसा

कोरिया जिले के चरचा थाना क्षेत्र में एक परिवार से दुर्घटना के मामले में आरोपित की गिरफ्तारी करने के एवज में पैसे मांगे गए। क्षेत्र में पांच दिन पहले सड़क हादसे में एक महिला को गंभीर चोट आई थी। नगर सैनिक अमित राजवाड़े पर लापरवाही से गाड़ी चलाने और एक्सीडेंट करने का आरोप लगाते हुए पीड़ित महिला की बेटी ने चरचा थाने में एफआइआर दर्ज कराई। इसके पांच दिन बाद महिला के स्वजन के मोबाइल पर आरोपित का वारंट जारी करने के लिए 1500 रुपये मांगे गए।

कांकेर के केस में पकड़े गए चार आरोपित

कांकेर जिले के चारामा थाना में मनीषा वर्मा, पुष्पा बाई और उत्सव जुर्री ने शिकायत दर्ज कराई थी। उन्होंने बताया कि आरोपित पुलिस अधिकारी बनकर फोन करते थे और उनके प्रकरण में कार्रवाई व दूसरे पक्ष को जेल भेजने के नाम पर के नाम पर पैसों मांगते थे। आनलाइन प्रकरण में दिए गए प्रार्थियों के मोबाइल नंबर पर एसपी कार्यालय कांकेर के पुलिस अधिकारी बनकर उनके प्रकरण में कार्रवाई आगे बढ़ाने के नाम पर पैसे मांगते थे। आरोपियों के द्वारा मोबाइल से बात कर पैसों की मांग की जाती थी और पैसा आपस में बांट लिया जाता था। रिपोर्ट के बाद पुलिस ने जांच शुरू कर चार आरोपितों को मध्यप्रदेश से गिरफ्तार किया।

रायपुर एसपी संतोष सिंह ने कहा, लोगों को सतर्क रहने की जरूरत है। अगर केस को लेकर फोन में पैसे की मांग की जाती है तो संबंधित थाने में इसकी तत्काल शिकायत करें।

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