महतारी वंदन योजना का असर, 20 दिन में बैंकों में निष्क्रिय पड़े 1.5 लाख खाते हुए सक्रिय, जानें कब से मिलेगा लाभ"/> महतारी वंदन योजना का असर, 20 दिन में बैंकों में निष्क्रिय पड़े 1.5 लाख खाते हुए सक्रिय, जानें कब से मिलेगा लाभ"/>

महतारी वंदन योजना का असर, 20 दिन में बैंकों में निष्क्रिय पड़े 1.5 लाख खाते हुए सक्रिय, जानें कब से मिलेगा लाभ

HIGHLIGHTS

  1. महतारी वंदन योजना को लेकर प्रदेशभर में महिलाएं हुईं सक्रिय
  2. 20 फरवरी तक 90 हजार से ज्यादा नए खाते खोले जाने की उम्मीद
  3. बैंकों में नए खाते खुलवाने व पुराने को सक्रिय कराने बढ़ी महिलाओं की भीड़

पराग मिश्रा/रायपुर। Mahtari Vandan Yojana: महिलाओं के सशक्तीकरण की दिशा में राज्य सरकार की ओर से शुरू की गई महतारी वंदन योजना ने अनेक बैंक खातों को फिर से ‘नींद से जगा’ दिया है। महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए शुरू की गई योजना का लाभ लेने के लिए बैंकों में भीड़ बढ़ गई है। यह भीड़ पुराने पड़े निष्क्रिय खातों को फिर से सक्रिय कराने और नए खाते खुलवाने के लिए लग रही है।

योजना का लाभ लेने के लिए बीते 20 दिनों में प्रदेशभर के बैंकों में निष्क्रिय पड़े करीब 1.5 लाख खाते सक्रिय हो गए हैं। इनमें से अधिकांश खाते या तो महिलाओं के हैं या फिर पति के साथ ज्वाइंट अकाउंट वाले। अभी तक 50 हजार नए खाते खोले जा चुके हैं।

बंद पड़े जनधन योजना के खाते भी शुरू

20 फरवरी तक 90 हजार से ज्यादा खाते खुलने की उम्मीद है। इसका कारण महतारी वंदन है। इसके कारण बंद पड़े जनधन योजना के खाते भी शुरू हो गए। आनलाइन अकाउंट तेजी से खोले जा रहे हैं। बताया जा रहा है डाकघर के खाते में भी किस्त आएगी।

प्रदेश में 51 लाख से ज्यादा आवेदन जमा

महतारी वंदन के लिए प्रदेशभर में करीब 51 लाख महिलाओं ने आवेदन जमा कर दिए हैं। रायपुर जिले से 5.94 लाख महिलाओं ने आवेदन जमा किए हैं। बीजापुर जिले में सबसे कम 18 हजार आवेदन मिले हैं। योजना के लिए 20 तक आवेदन मंगाए गए हैं।

पहली किस्त आठ मार्च को देने की तैयारी

महतारी वंदन योजना के तहत महिलाओं के बैंक खातों में प्रति माह 1,000 रुपये यानी सालाना 12,000 रुपये डीबीटी (डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर) के माध्यम से भेजे जाएंगे। पहली किस्त आठ मार्च को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर देने की तैयारी है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button