Raipur Crime: मर्चेंट नेवी की नौकरी छोड़ बन गया ठग, फ्रेंचाइजी दिलाने के नाम ठगी करने वाले बिहार के दो शातिर गिरफ्तार"/> Raipur Crime: मर्चेंट नेवी की नौकरी छोड़ बन गया ठग, फ्रेंचाइजी दिलाने के नाम ठगी करने वाले बिहार के दो शातिर गिरफ्तार"/>

Raipur Crime: मर्चेंट नेवी की नौकरी छोड़ बन गया ठग, फ्रेंचाइजी दिलाने के नाम ठगी करने वाले बिहार के दो शातिर गिरफ्तार

रायपुर। Raipur Crime News: डोमिनोज की फ्रेंचायजी दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले बिहार के दो ठगों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। आरोपितों ने 25 लाख 77 हजार 500 रुपये की ठगी की थी। टिकरापारा थाना पुलिस और क्राइम की टीम ने सिकंदर कुमार निवासी चरुखिया थाना खुदागंज जिला नालंदा बिहार और सूरज कुमार निवासी भराव पार दुर्गा स्थान थाना लहेरी जिला नालंदा बिहार को गिरफ्तार किया है। मुख्य आरोपित फरार है। इनके खाते से छह लाख रुपये होल्ड करवाए गए हैं। सिकंदर कुमार 2020-21 में मर्चेंट नेवी में काम किया। इसके बाद नौकरी छोड़ कर वह ठगी करने लगा। आरोपितों के कब्जे से प्रकरण से संबंधित नौ मोबाइल फोन, नौ एटीएम कार्ड, फिंगर प्रिंट स्केनर, आधार कार्ड, वोटर आइडी और पासपोर्ट जब्त किया गया है।

शनिवार को मामले का राजफाश करते हुए एएसपी लखन पटले ने बताया कि प्रार्थी सुदिप्ता धारा निवासी संतोषी नगर ने थाना टिकरापारा में ठगी की रिपोर्ट दर्ज करवाई थी। प्रार्थी ने डोमिनोज की फ्रेचाइजी के लिए गूगल में सर्च किया था। वहीं से गूगल सर्च में ठगों का विज्ञापन मिला था। इसके बाद फोन में बात करने के बाद आरोपितों ने प्रार्थी को अपनी बातों में लेकर डोमिनोज फ्रेंचाईजी दिलाने का झांसा देकर अलग-अलग बहाने से अलग- अलग किश्तों में कुल 25,77,500 रुपये जमा करवा लिए थे। रिपोर्ट के बाद पुलिस और क्राइम की टीम ने मामले की जांच शुरू की और बैंक खाते और मोबाइल नंबर की जांच के बाद छह सदस्यीय टीम को बिहार रवाना किया गया। आरोपित लगातार अपनी लोकेशन बदल रहे थे। पुलिस ने जांच कर दो आरोपितों को गिरफ्तार किया।

 

ऐसे करते हैं ठगी

पुलिस की पकड़ में आए आरोपितों के लैपटाप से कई बड़ी कंपनी की फर्जी वेबसाइट मिली है। गूगल आनलाइन प्लेटफार्म में बहुत अधिक ऐसे फर्जी वेबसाइट है, जो देखने पर असली वेबसाइट की तरह प्रतीत होती है, परंतु वह वेरीफाइड नहीं होते है। जिसके लागिन करते ही कस्टमर का पूरा विवरण आरोपितों के हाथ लग जाता था। गिरोह के सदस्य किसी को भी इस प्रकार की बड़ी धोखाधड़ी का शिकार बना लेते हैं।

आरोपितों ने सीख रखा था वेब डिजाइन का काम

पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार आरोपित सूरज कुमार 12वीं तक पढ़ाई किया है। इसके अलावा वह वेब डिजाइन का काम करता था। इसके अलावा सिकंदर को भी वेब डिजाइनिंग कर काम आता है। दोनों आसानी से फर्जी वेबसाइट तैया कर लेते थे। दोनों डिजिटल मार्केटिंग में काम भी कर चुके हैं। सिकंदर एक साल मर्चेंट नेवी में भी काम किया है। दोनों मिलकर अब तक कई लोगों को अपना शिकार बना चुके हैं।

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