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Sawan Somwar 2023: आज है सावन का 5वां सोमवार, बन रहे हैं कई शुभ योग, जानें शुभ मुहूर्त और पूजन विधि

सुख-समृद्धि का प्राप्ति के लिए पांचवें सोमवार के दिन शाम को भोलेनाथ का गन्ने के रस से अभिषेक करें।

Sawan Somwar 2023: सावन के महीने में सोमवार का खास महत्व होता है। अगर आपने बाकी दिन भोलेनाथ को जल नहीं भी चढ़ाया हो, तो सोमवार के दिन जल चढ़ाने से वैसे ही फल प्राप्त होते हैं। सावन में सोमवार के व्रत का भी विशेष महत्व माना जाता है। इस बार भक्तों के लिए अच्छी बात ये है कि अधिक मास होने की वजह से सावन में कुल 8 सोमवार पड़ेंगे। ऐसे में भोलेनाथ को प्रसन्न करने के लिए कई दिन मिल रहे हैं। 7 अगस्त को सावन का पांचवां सोमवार व्रत रखा जाएगा। इस दौरान पूजा के कई शुभ योग भी बन रहे हैं। आइये जानते हैं इसकी तिथि और शुभ योग के बारे में-

पांचवां सोमवार: शुभ मुहूर्त

7 अगस्त, सोमवार को सप्तमी तिथि है जो अश्विनी नक्षत्र में पड़ रहा है। इस दौरान पूजा करने का अभिजीत मुहूर्त दोपहर 12 बजकर 18 मिनट से 1 बजकर 10 मिनट तक है। जबकि विजय मुहूर्त दोपहर 2 बजकर 53 मिनट से 3 बजकर 45 मिनट तक है। इसके साथ ही अधिक मास के तीसरे सोमवार व्रत के दिन रवि योग रहेगा। रवि योग मनोकामनाओं की पूर्ति वाला होता है। रवि योग सुबह 05 बजकर 46 मिनट से अगले दिन सुबह 01 बजकर 17 मिनट तक रहेगा। इस समय में पूजा से सभी मनोरथ पूर्ण होते हैं। इसके अलावा इस दिन शूल योग भी बन रहा है। यह योग 06 अगस्त की रात 08 बजकर 26 मिनट से 07 अगस्त को शाम 06 बजकर 16 मिनट तक रहेगा। साथ ही इस दिन सूर्य और गुरु के एक-दूसरे के नजदीक आ जाने से भी शुभता बढ़ जाएगी।

कैसे करें पूजन?

इस दिन सुबह जल्दी उठ जाएं और स्नान आदि से निवृत्त होकर भगवान शिव का और सभी देवी- देवताओं का गंगा जल से अभिषेक करें। इसके बाद भगवान शिव का पंचामृत से अभिषेक करें। साथ ही भगवान शिव पर बेलपत्र, धतूरा, भांग, मदार की माला आदि चढ़ाएं। साथ ही दूध से बनी मिठाई का भोग लगाएं। वहीं अंत में शिव आरती करें। सुख-समृद्धि का प्राप्ति के लिए सोमवार के दिन शाम को गन्ने के रस से भोलेनाथ का अभिषेक करें।

डिसक्लेमर

‘इस लेख में दी गई जानकारी/सामग्री/गणना की प्रामाणिकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। सूचना के विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/धार्मिक मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संकलित करके यह सूचना आप तक प्रेषित की गई हैं। हमारा उद्देश्य सिर्फ सूचना पहुंचाना है, पाठक या उपयोगकर्ता इसे सिर्फ सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त इसके किसी भी तरह से उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता या पाठक की ही होगी।’

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