कोरबा : अमानक चावल वितरण की खबर निकली झूठी

धरनाकर्ता के साथ शासन की टीम ने जांची गुणवत्ता

अमानक चावल वितरण को लेकर धरने पर बैठने का मामला

कोरबा : शासकीय उचित मूल्य की दुकानों में अमानक स्तर का चावल लोगों को वितरित करने की सूचना अंततः झूठी निकली। इस कथित मामले को लेकर श्री राजकुमार दुबे ने कल कोरबा के कलेक्टोरेट परिसर में धरना दिया था। इस पर अपर कलेक्टर श्री सुनील नायक ने धरनाकर्ता के साथ उनकी बताई हुई शासकीय राशन दुकानों में प्रशासन की टीम भेजकर वितरण किये जा रहे चावल की जांच कराई।

धरनाकर्ता श्री राजकुमार दुबे की मौजूदगी में उनके ही द्वारा बताई गई दुकानों से चावल के सेम्पल लिये गये और उन्हें क्वालिटी इंसपेक्टर द्वारा जांचा गया। जांच में दोनों दुकानों के चावल के सेम्पल निर्धारित गुणवत्तायुक्त पाए गये। जांच दल में तहसीलदार कोरबा, खाद्य निरीक्षक कोरबा, नॉन के दो क्वालिटी इंसपेक्टर और कोरबा के मिलर कर्मी भी शामिल रहे।

उल्लेखनीय है कि शासकीय राशन दुकानों से लोगों को अमानक स्तर का चावल वितरित किया जाना बताकर श्री राजकुमार दुबे 28 जनवरी को सुबह कलेक्टोरेट परिसर में धरने पर बैठ गये थे। श्री राजकुमार दुबे ने पूछे जाने पर मुड़ापार की सोसायटी की लालघाट और अमरैय्या पारा की दो राशन दुकानों में ऐसे चावल का वितरण होना बताया गया था। इस पर अपर कलेक्टर श्री सुनील नायक ने उनसे इसकी जानकारी लेकर उन्हीं की मौजूदगी में चावल की गुणवत्ता जांचने के निर्देश अधिकारियों को दिये थे। अधिकारियों द्वारा धरनाकर्ता के साथ उचित मूल्य की दुकानों में पहुंचकर भंडारित चावल का नमूना जांच के लिए लिया गया और इसकी जांच कलेक्टोरेट सभाकक्ष में श्री दुबे की मौजूदगी में ही की गई। दोनों दुकानांे में भंडारित चावल मानक स्तर का पाया गया। इससे धरनाकर्ता की अमानक चावल वितरण की बात झूठी निकली। प्रशासन ने धरनाकर्ता को जरूरी समझाईश दी।

यह भी उल्लेेखनीय है कि अमानक स्तर के चावल वितरण के कथित विरोध में धरने पर बैठे श्री राजकुमार दुबे ने प्रशासनिक अधिकारियों पर भी दबाव बनाने का पूरा प्रयास किया था। उन्होंने अधिकारियों का नाम लेकर आत्महत्या करने तक की धमकी इस मामले पर अधिकारियों को दे दी थी। धरनाकर्ता की मौजूदगी में उन्हीं के द्वारा बताई गई दुकानों से चावल के सेम्पल लेकर जांच के बाद मामले की पूरी सच्चाई सामने आ गई है।

यह हैं चावल के मानक: नान के क्वालिटी इंसपेक्टर ने बताया कि लोगों को वितरित करने के लिए शासकीय उचित मूल्य की दुकानांे में भंडारित होने वाले चावल की गुणवत्ता मानक निर्धारित है। चावल में ब्रोकन 25 प्रतिशत, एफ मैटर 0.5 प्रतिशत, डेमेज 03 प्रतिशत, डिसकलर ग्रेन तीन प्रतिशत, चाकी ग्रेन पांच प्रतिशत और रेड ग्रेन तीन प्रतिशत तक निर्धारित किया गया है।

क्वालिटी इंसपेक्टर ने बताया कि लालघाट की राशन दुकान में भंडारित चावल में ब्रोकन 21 प्रतिशत, एफ मैटर 0.1 प्रतिशत, डेमेज 1.6 प्रतिशत, डिसकलर ग्रेन 0.6 प्रतिशत, चाकी ग्रेन 0.8 प्रतिशत और रेड ग्रेन 0.2 प्रतिशत पाया गया है। इसी प्रकार अमरैय्या पारा की राशन दुकान में भंडारित चावल में ब्रोकन 14.1 प्रतिशत, एफ मैटर 0.1 प्रतिशत, डेमेज 0.4 प्रतिशत, डिसकलर ग्रेन 1.7 प्रतिशत, चाकी ग्रेन 0.4 प्रतिशत और रेड ग्रेन 0.2 प्रतिशत पाया गया है।

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