CG Lok Sabha Election: PCC चीफ दीपक बैज बोले- पांच गारंटी आशा की किरण, केदार कश्यप का पलटवार- कांग्रेस की घोषणाएं फर्जी
HIGHLIGHTS
- – भाजपा-कांग्रेस ने एक-दूसरे पर किया पलटवार
- – बैज बोले- कांग्रेस की पांच न्याय गारंटी आशा की किरण
- – केदार का पलटवार, कांग्रेस की तरह उनकी घोषणाएं भी फर्जी
राज्य ब्यूरो, रायपुर। Chhattisgarh Lok Sabha Election 2024: प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा है कि कांग्रेस की पांच न्याय गारंटी आशा की किरण है। राजीव भवन में पत्रकारवार्ता के बैज ने कहा कि महिला, युवा, किसान, मजदूर सभी को विकास की मुख्यधारा में लाने के लिए उनको कानूनी संरक्षण मिले इसके लिए कांग्रेस पार्टी ने लोकसभा चुनाव के लिए किसान न्याय, युवा न्याय, नारी न्याय, श्रमिक न्याय तथा हिस्सेदारी न्याय देने का वायदा किया है। नारी न्याय में कांग्रेस देश की महिलाओं से वायदा करती है कि कांग्रेस की केंद्र महिलाओं के लिए महालक्ष्मी योजना लागू करेगी, जिसमें महिलाओं को प्रति महीने 8,333 रुपये मिलेगा।
बैज ने कहा कि कांग्रेस का मुख्य मुद्दा केंद्र सरकार व राज्य में भाजपा सरकार की विफलता है। कांग्रेस की सरकार केंद्रीय नौकरियों में आधी भर्तियां महिलाओं की करेगी। आशावर्कर, आंगनबाड़ी तथा मिड-डे मील कार्यकर्ताओं को केंद्रीय सहायता कांग्रेस की सरकार बनने पर दोगुना किया जाएगा। एमएसपी को कानून का दर्जा दिया जाएगा।
कांग्रेस की तरह उनकी घोषणाएं भी फर्जी – केदार कश्यप
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष की पत्रकार वार्ता पर पलटवार करते हुए भाजपा के वरिष्ठ मंत्री केदार कश्यप ने कहा कि कांग्रेस की तरह उनकी घोषणाएं भी फर्जी है। फर्जी घोषणाओं को प्रदेश की जनता ने 2018 के चुनाव में भी सुना था। विधानसभा चुनाव के समय कांग्रेस ने महिलाओं को 500 रुपये देने का वादा किया था। पांच साल में एक भी महिला को यह राशि नहीं दी गई, जिन लोगों ने पांच साल में 500 रुपये नहीं दिए। अब 8,000 रुपये प्रति महीना देने का वादा कर रहे हैं और यह कहने में उन्हें किसी प्रकार की कोई शर्म भी नहीं आ रही है।
कश्यप ने कहा कि यही कारण है कांग्रेस पूरी तरीके से हर जगह से खदेड़ी जा रही है। कश्यप ने कहा कि किसान के साथ न्याय की बात करने वाली कांग्रेस सरकार जब केंद्र में 10 वर्ष थी तब धान खरीदी का 10 वर्षों में किसानों को कुल 4.4 लाख करोड़ ही भुगतान किया था जबकि मोदी सरकार ने 12 लाख करोड़ से ज्यादा का भुगतान किया। जब यह सरकार में रहते हैं तब कुछ करते नहीं और जब विपक्ष में आते हैं तो बड़ी-बड़ी बातें करते हैं।